देहरादून: उत्तराखंड के प्रसिद्ध लोक हास्य कलाकार घनानंद उर्फ घन्ना भाई अब इस दुनिया में नहीं रहे। देहरादून के इंद्रेश अस्पताल में 72 साल की उम्र में उन्होंने आखिरी सांस ली। कार्डियक अरेस्ट से उनका निधन हो गया। बता दें कि काफी समय से हास्य कलाकार घनानंद की तबीयत ठीक नहीं चल रही थी। तबीयत बिगड़ने पर उन्हें देहरादून के इन्दिरेश अस्पताल में भर्ती कराया गया था। बीते चार दिन से वो वेंटिलेटर पर थे।
महंत इंद्रेश अस्पताल प्रबंधन ने कॉमेडियन की मौत की पुष्टि की है। आवाज सुनो पहाड़ों की कार्यक्रम के मुख्य संरक्षक बलबीर सिंह पंवार और संयोजक नरेंद्र रौथाण की माने तो घन्ना भाई को पहले पेसमेकर लगाया गया था। जिसके बाद से ही वो हॉस्पिटल में नियमित तौर पर ह्रदय संबंधी जांच करवाने जा रहे थे।बता दें कि कुछ समय पहले यूरिन में उन्हें ब्लड आ रहा था। चेकअप के लिए वो अस्पताल पहुंचे। इस दौरान खून चढ़ाने के बाद उनकी तबीयत बिगड़ी।
दिग्गज कलाकार घनानंद का जन्म 1953 में पौड़ी के गगोड़ गांव में हुआ था। पौड़ी गढ़वाल के कैंट बोर्ड लैंसडाउन से उन्होंने शिक्षा प्राप्त की थी। साल 1970 में उन्होंने हास्य कलाकार के रूप में अपने सफर की शुरुआत की थी। पहले वो रामलीलाओं में नाटक किया करते थे।जिसके बाद 1974 में घनानंद ने रेडियो और दूरदर्शन पर भी कई कार्यक्रम किए। उन्होंने कई गढ़वाली फिल्मों और म्यूजिक एलबम में अभिनय किया है। राजनीति में भी घन्ना भाई अपना हाथ आजमा चुके हैं। साल 2012 में भाजपा के टिकट पर उन्होंने पौड़ी से विधानसभा चुनाव भी लड़ा था। हालांकि वो चुनाव हार गए थे। साल 2022 में भी उन्होंने भाजपा से टिकट के लिए दावेदारी की थी।