ईरान की एक फ्लाइट में बम मिलने की खबर के बाद हड़कंप मच गया. ये विमान भारतीय वायुक्षेत्र में था. पायलटों ने पहले विमान को दिल्ली में उतारने की अनुमति मांगी. हालांकि बाद में उन्होंने इस विमान को चीन ले जाने का फैसला किया. उधर, फ्लाइट में बम की सूचना मिलने के साथ ही भारतीय वायुसेना भी अलर्ट पर आ गई. वायुसेना ने पंजाब और जोधपुर एयरबेस से दो सुखोई विमान फ्लाइट के पीछे लगा दिए.
बताया जा रहा है कि एयरक्रॉफ्ट में बम की सूचना दिल्ली एटीसी को दी गई. इसके साथ ही दिल्ली एयरबेस में उतरने की अनुमति मांगी गई. इसके बाद दो सुखोई विमानों को इसके पीछे तैनात किए गए. हालांकि, बाद में इसे चीन की ओर जाने की अनुमति दी गई.
सूत्रों के मुताबिक, लाहौर एटीसी ने दिल्ली एटीसी को फ्लाइट में बम होने की सूचना दी थी. इसके बाद इमरजेंसी लैंडिंग की अनुमति मांगी. दिल्ली एयरपोर्ट ऐसी स्थिति का सामना करने के तैयार था. हालांकि बाद में फ्लाइट के पायलटों ने दिल्ली में इमरजेंसी लैंडिंग न करने का फैसला किया.
सुरक्षा एजेंसियां चीन की ओर जाने वाले रास्ते पर कड़ी नजर रखे हुए हैं और भारतीय वायुसेना ने हवाई स्टेशनों और विमानन इकाइयों को अलर्ट पर रखा गया है. भारतीय एजेंसियों द्वारा अभी भी हवाई जहाज को बारीकी से ट्रैक किया जा रहा है.
एयरक्रॉफ्ट की ओर से ही फ्लाइट में बम होने की सूचना दी गई थी. तेहरान से चीन जाने वाली यह उड़ान उस वक्त भारत के हवाई क्षेत्र में था इसके बाद सुरक्षा एजेंसियां अलर्ट पर आ गईं. एयरफोर्स ने इसके बाद दो Su-30MKI फाइटर जेट तैनात किए और इसके पीछे लगा दिए.
समाचार एजेंसी एएनआई के मुताबिक, विमान तेहरान से चीन के गुआंगजोउ जा रहा था. तभी महान एयरलाइन की ओर से दिल्ली एयरपोर्ट के एटीसी को उड़ान में बम होने की धमकी के बारे में जानकारी दी गई और दिल्ली में इसे उतारने की अनुमति मांगी गई. पहले जानकारी सामने आई थी कि दिल्ली एटीसी ने इसे जयपुर में उतारने की सलाह दी. हालांकि, जयपुर में विमान को भारतीय क्षेत्र में उतारने की अनुमति देने से इनकार कर दिया गया.
सूत्रों के मुताबिक, लाहौर एटीसी ने दिल्ली एटीसी को फ्लाइट में बम होने की सूचना दी थी. इसके बाद इमरजेंसी लैंडिंग की अनुमति मांगी. दिल्ली एयरपोर्ट ऐसी स्थिति का सामना करने के लिए तैयार था. हालांकि बाद में फ्लाइट के पायलटों ने दिल्ली में इमरजेंसी लैंडिंग न कराने का फैसला किया.